यूँही थोड़ा-थोड़ा मरना अच्छा लगता है
प्याला खाली करना- भरना अच्छा लगता है
मंदिर मस्जिद जो भी हो अब जल्दी से बनवा दो
हमको भीड़ में सजदा करना अच्छा लगता है
ले आया संसद में लाठी बागीचे वाली
नंगे पाँव साँप पकड़ना अच्छा लगता है
बेमतलब की बातों में कब अपनी दिलचस्पी थी
हमको तो खामोशी में रहना अच्छा लगता है
दो लफ़्ज़ों में दिल की हालत कह दूँ मैं लेकिन
ग़ज़लों के लहज़े में कहना अच्छा लगता है
बाइज़्ज़त कल कुछ जुर्मों से बरी हुआ फिर भी
दोबारा जुर्मों को करना अच्छा लगता है
यारों का टोला जाता देखा अमरीका मैंने
मुझको अपने गाँव का झरना अच्छा लगता है
अब बचपन सा डर मेले में किसको लगता है
पर बाबा का हाथ पकड़ना अच्छा लगता है
यूँभी ख़बरों का क्या करता दिन-दोपहरी में
रातों को अख़बार का पढ़ना अच्छा लगता है
हर धागे में घाँठ पढ़ी, हाँ! कुछ मेरी ग़लती थी
उसको भी रिश्ते उलझाना अच्छा लगता है
मैं क्या जानूँ किस उलझन में शायर लिखते हों
मुझको तो बस ख़ाली पन्ना अच्छा लगता है
नंदन कॉमिक्स को अब भी मैं हर स्टेशन ढूँढूँ
क्या कीजे बच्चों सा हंसना अच्छा लगता है
मैं तनहा हूँ मुझमें चाहे जितना तुम उतरो
मुझको खुद को "सागर" कहना अच्छा लगता है
~ckh